आपूर्तिकर्ता को अनुमोदन से दुगुनी राशि का किया भुगतान !

तात्कालीन सीएमएचओ डॉ. डी. राजन का एक और कारनामा =
= प्रदेश स्वास्थ्य कर्मचारी संघ ने फिर लगाया अनियमितता का आरोप =
जगदलपुर 16 May, (Swarnim Savera) । छत्तीसगढ़ प्रदेश स्वास्थ्य कर्मचारी संघ ने मौजूदा संयुक्त स्वास्थ्य संचालक डॉ. डी राजन पर बस्तर के सीएमएचओ पद पर रहने के दौरान सामग्री, दवाई और चश्मा क्रय ने बड़ी गड़बड़ी करने का आरोप लगाया है। संघ का कहना है कि डॉ. राजन ने अनुमोदित राशि से दुगुनी राशि का भुगतान आपूर्तिकर्ता को करने का उल्लेख दस्तावेजों में किया है। वहीं न्यूनतम निविदा दर से अधिक दर के बिल कथित आपूर्तिकर्ता द्वारा पेश किए गए और बिलों के आधार पर आंख मूंदकर भुगतान भी कर दिया गया।
छत्तीसगढ़ प्रदेश स्वास्थ्य कर्मचारी संघ के बस्तर जिला अध्यक्ष अजय प्रताप सिंह परिहार के नेतृत्व में संघ के प्रतिनिधि मंडल ने सोमवार को बस्तर के संभाग आयुक्त श्याम धावड़े को ज्ञापन सौंपकर सीएमएचओ रहते डॉ. राजन द्वारा कथित रूप से की गई गड़बड़ी की जांच एवं कार्रवाई की मांग की। ज्ञापन में आरोप लगाया गया है कि सीएमएचओ के पद पर रहते हुए डॉ. राजन ने सन 2021- 22 में जिला अंधतत्व निवारण समिति के लिए दवाइयां, चश्मे, उपकरण आदि की खरीदी के लिए निविदा आमंत्रित की थी। संजय ऑप्टिकल्स जगदलपुर को इन सामग्री की आपूर्ति का काम दिया गया था। सामग्री आपूर्ति के एवज ने इस फर्म को न्यूनतम अनुमोदित दर से दुगुनी से भी ज्यादा राशि 2 लाख 27 हजार 260 रु. का भुगतान कर दिया गया। सूचना के अधिकार के तहत प्राप्त फर्म द्वारा प्रस्तुत बिलों और विभागीय दस्तावेजों ने अनेक विसंगतियां उजागर हुई हैं। बगैर वर्क आर्डर के उक्त फर्म से सामग्री क्रय की गई। देयक क्रमांक 116 में अंकित सामग्री का बिल न्यूनतम निविदा दर से अधिक का पेश किया गया है। सूचना के अधिकार के तहत जानकारी मांगे जाने के बाद डॉ. राजन ने 22 फरवरी 2022 को फर्म के नाम पत्र जारी कर ज्यादा भुगतान की गई राशि तीन दिन में लौटाने हेतु निर्देशित किया गया। इसके बाद फर्म ने 21 अप्रैल 2022 को एनएफटी के माध्यम से अतिरिक्त राशि 1 लाख 22 हजार 370 रु. लौटा दी। विलंब से राशि जमा कराने पर नोटिस जारी करने के बाद फर्म द्वारा पुनः 18, 700 रु. जमा कराए गए। ज्ञापन में कहा गया है कि राशि लौटाने का आदेश फर्म को 22 फरवरी 2022 की तिथि पर जारी किया गया, जबकि विभाग की कैशबुक में फर्म के देयकों की इंट्री 28 मार्च 2022 की तिथि पर की गई। संघ का कहना है कि इस तरह की त्रुटियां भूलवश नहीं हुईं, बल्कि जानबूझकर की गईं हैं। क्योंकि सामग्री क्रय और भुगतान की फाइल विभाग की अनेक टेबलों से गुजरी होगी, तब क्या उस समय किसी की नजर नहीं पड़ी होगी ? संघ ने संभाग आयुक्त से इस मामले की निष्पक्ष जांच कराने तथा डॉ. राजन के खिलाफ कार्रवाई करने की मांग की है। संघ के प्रतिनिधि मंडल में जिला अध्यक्ष अजय प्रताप सिंह परिहार, जिला उपाध्यक्ष रूपेंद्र सिंह, महारानी जिला इकाई अध्यक्ष लक्ष्मी टांडिया, ब्लॉक किलेपाल अध्यक्ष रोजलीन, महारानी अस्पताल इकाई जिला सचिव नीरज कुमार, नेत्र प्रकोष्ठ अध्यक्ष हनुमंत सोनी, महेंद्र पाण्डेय, भीकम साहू एवं अन्य कर्मचारी शामिल थे।

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