भारती विश्वविद्यालय, दुर्ग में एम्पलायी एप्रिसियेशन डे का आयोजन किया गया

दुर्गः 13 March, (Swarnim Savera) ,,, भारती विश्वविद्यालय, दुर्ग में एम्पलायी एप्रिसियेशन डे का आयोजन किया गया। यह आयोजन भारती विश्वविद्यालय के विशाखा प्रकोष्ठ के तत्वावधान में आयोजित किया गया। इसके तहत किसी भी आर्गेनाइजेशन का अपने कर्मचारी व अपने अधिनस्थ लोगों के सर्वांगीण विकास तथा प्रोफेशनल फ्रंट पर कर्मचारी व मैनेजमेंट के पारस्परिक संबंधों पर उत्कृष्ट कार्यशाला का आयोजन किया गया। कार्यशाला उद्देश्यपूर्ण व सफल रही।
कार्यशाला के मुख्यवक्ता के रूप में हेमचंद यादव विश्वविद्यालय, दुर्ग के छात्र कल्याण अधिष्ठाता डाॅ. प्रशांत श्रीवास्तव रहे। इस अवसर पर डाॅ. प्रशांत श्रीवास्तव ने कर्मचारी-प्रबंधन, मानवीय रिश्ते, सकारात्मक व्यवहार, सहजता तथा दूसरों की प्रशंसा कर व्यवहारिक ज्ञान पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि जीवन तथा व्यवसाय में सफल होने के लिए सहज व दूसरों को सम्मान देना तथा प्रशंसा करना आवश्यक है। साथ ही उन्होंने विदेश प्रवास के दौरान अपने एकादमिक अनुभवों को साझा किया तथा छात्रों व शिक्षकों से विदेशों से मिलने वाली फेलोशिप व स्काॅलरशिप जैसे अत्यंत महत्वपूर्ण जानकारी भी साझा की।
कार्यक्रम की समन्वयक व संचालिका, विशाखा प्रकोष्ठ की प्रभारी डाॅ. राजश्री नायडू ने कार्यक्रम का सफल संचालन किया, साथ ही उन्होंने प्रशंसा को हर प्रोफेशनल, नाॅन प्रोफेशनल रिश्तों के साथ जोड़ते हुए इसे एक अनिवार्य व्यवहारिक ज्ञान की संज्ञा दी। कार्यक्रम की उपसमन्वयक निशा पटेल, सहायक प्राध्यापक एवं विभागाध्यक्ष फारेंसिक साइंस ने कार्यक्रम के सफल संचालन में योगदान दिया।
आत्म मंथन व स्वप्रेरणा पर प्रकाश डालते हुए विधि संकाय के डीन प्रो. के.सी. दलाई ने भारती विश्वविद्यालय के कर्मचारियों का आह्वान किया तथा इस सुअवसर पर उपस्थित अतिथिगण, समस्त विभागों के विभागाध्यक्ष, शिक्षकगण एवं छात्र-छात्राओं को धन्यवाद ज्ञापित किया । इस अवसर पर प्रो. डी.सी. परसाई डीन इंजीनियरिंग, डाॅ. कुबेर गुरुपंच विभागाध्यक्ष भूगोल विभाग, डाॅ. स्वाति पाण्डेय छात्र कल्याण अधिष्ठाता, डाॅ. निशा गोस्वामी विभागाध्यक्ष समाजकार्य विभाग, डाॅ. सुमन बालियान विभागाध्यक्ष हिन्दी सहित विभिन्न विभागों के विभागाध्यक्ष एवं शिक्षकवृंद तथा बड़ी संख्या में छात्र-छात्राएं उपस्थित थे।
यह कार्यक्रम विश्वविद्यालय के माननीय कुलाधिपति श्री सुशील चंद्राकर और कुलसचिव डाॅ. वीरेन्द्र कुमार स्वर्णकार की प्रेरणा से आयोजित हुआ।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *