हरा सोना को लेकर लाल लाल पीला हो रहे हैं कांग्रेसी – भाजपाई
तेंदूपत्ता खरीदी के मामले पर दोनों पक्ष लगा रहे चल आरोप -प्रत्यारोप
श्रमिक हितैषी योजनाएं बंद कर दी कांग्रेस सरकार ने : केदार कश्यप
तेंदूपत्ता संग्राहकों को दे रहे हैं ज्यादा पारिश्रमिक : दीपक बैज
जगदलपुर 10 May,(Swarnim Savera) । तेंदूपत्ता संग्रहण के मसले पर कांग्रेस – भाजपा में जमकर तकरार चल रही है। दोनों दलों के नेताओं के बीच जुबानी जंग की शुरुआत भाजपा के प्रदेश महामंत्री केदार कश्यप के बयान के बाद हुई। इसके बाद बस्तर के सांसद दीपक बैज ने केदार कश्यप को करारा जवाब दिया।
डॉ. रमनसिंह सरकार में केबिनेट मंत्री रहे केदार कश्यप ने आरोप लगाया कि जब छत्तीसगढ़ में हमारी भाजपा सरकार थी, तब 2018 तक प्रतिवर्ष 17 लाख मानक बोरा तेंदूपत्ता की खरीदी की जाती थी। कांग्रेस की सरकार आने के बाद मात्र 10 से 11 लाख मानक बोरा तेंदूपत्ता खरीदा जा रहा है। ऊपर से महज एक दो दिन ही खरीदी की जाती है। ऐसे में श्रमिक कब पत्ते तोड़कर लाएंगे, कब गड्डियां बनाएंगे और कब फड़ में बेचने जाएंगे? भाजपा सरकार महिला तेंदूपत्ता संग्राहकों को सड़ियां, जूते, बोनस राशि, उनके बच्चों को प्रोत्साहन राशि देती थी, संग्राहकों का बीमा कराती थी। कांग्रेस सरकार ने इन सभी योजनाओं को बंद कर बस्तर, सरगुजा, राजनांदगांव समेत पूरे छत्तीसगढ़ के तेंदूपत्ता संग्राहक वनवासियों, आदिवासियों के साथ छल किया है। कांग्रेस सरकार वनवासियों और आदिवासियों का कल्याण करना नहीं चाहती।
*हमारी सरकार कमीशन नहीं खाती : बैज
केदार कश्यप के आरोपों पर पालटवार करते हुए बस्तर के कांग्रेस सांसद दीपक बैज ने कहा कि भाजपा और केदार कश्यप आधी अधूरी जानकारी दे रहे हैं। भाजपा के शासनकाल में संग्राहकों को सिर्फ ढाई हजार रु. प्रति मानक बोरा की दर से पारिश्रमिक दिया जाता था। हमारी सरकार आने के बाद इसे बढ़ाकर चार हजार रु. मानक बोरा कर दिया गया है। आज पारिश्रमिक राशि सीधे संग्राहकों के एकाउंट में जाती है तथा आवश्यकता अनुसार नकद भुगतान भी किया जाता है। भाजपा सरकार पंद्रह साल तक संग्राहकों को साड़ी और जूते चप्पल देने की आड़ में कमीशनखोरी करती रही। हमारी सरकार ने कमीशनखोरी वाली योजनाएं बंद कर पारिश्रमिक राशि लगभग दोगुनी कर दी है। पंद्रह सालों तक शासन करने के बाद भी भाजपा आदिवासियों और वनवासियों का भला नहीं कर सकी। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल इस दिशा में अच्छा काम कर रहे हैं, तो भाजपा के पेट में दर्द होने लगा है।