आदिवासी और किसान का दिल जीतने वाला ही बनेगा सिकंदर

कांग्रेस के घोषणा पत्र और भाजपा के संकल्प पत्र का सभी को बेताबी से इंतजार =

*-अर्जुन झा-*

*जगदलपुर।* इस बार के विधानसभा चुनाव में जो राजनीतिक दल किसानों और आदिवासियों का दिल जीत लेगा, वही दल छत्तीसगढ़ की सत्ता का सिकंदर बनेगा। यह चुनाव किसान और आदिवासी पर ही पूरी तरह केंद्रित हो गया है। अभी तक जो संकेत मिले हैं, उसके मुताबिक सिकंदर बनने की दौड़ में भाजपा की बनिस्बत कांग्रेस आगे नजर आ रही है। फिलहाल कांग्रेस के पूर्ण घोषणा पत्र और भाजपा के संकल्प पत्र का सभी को बेताबी से इंतजार है।

      छत्तीसगढ़ कृषि प्रधान और आदिवासी बहुल राज्य है। यहां की अर्थव्यवस्था वनोपजों और कृषि पर ही टिकी हुई है। यहां की लगभग पूरी आबादी की आजीविका खेती किसानी और तेंदूपत्ता, महुआ, ईमली, साल बीज, चार, चिरोंजी आदि वनोपजों के ही भरोसे चलती है। धान, चना की खेती समूचे छत्तीसगढ़ में की जाती है। वहीं बस्तर, सुकमा, दंतेवाड़ा, बीजापुर, नारायणपुर, कोंडागांव, मोहला, मानपुर, अंबागढ़ चौकी, राजनांदगांव, कवर्धा, रायगढ़, कोरबा, सरगुजा, धमतरी समेत कुछ अन्य जिलों वनोपजों की भरपूर पैदावार होती है। ये सभी आदिवासी बहुल जिले भी हैं। लब्बोलुआब यह है कि छत्तीसगढ़ के किसान और कृषि मजदूर तथा आदिवासी मतदाता हर चुनाव में निर्णायक भूमिका निभाते हैं। इसलिए जो दल किसान और आदिवासी के हक में जितने ज्यादा दमदार वादे करेगा, वही उसी दल को यहां सरकार बनाने का मौका मिलेगा। अब तक जो संकेत मिलते आए हैं, वे बताते हैं कि किसानों और आदिवासियों को साधने के मामले में कांग्रेस काफी आगे चल रही है। प्रदेश कांग्रेस कार्यालय राजीव भवन रायपुर में प्रदेश कांग्रेस कमेटी का कार्यालय है और कांग्रेस का वार रूम शंकर नगर के एक निजी बंगले में संचालित है। दोनों जगहों के विश्वसनीय सूत्र बता रहे हैं कि 7 नवंबर को होने वाले पहले चरण के मतदान में कांग्रेस मास्टर स्ट्रोक लगाने जा रही है। कांग्रेस की ओर से किसानों और आदिवासियों के लिए तो बंपर घोषणाएं की जा चुकी हैं।ईमली का समर्थन मूल्य 100 रु. किलो किया जा सकता है।महुआ की दर भी 100 रु. की जा सकती है। उच्च क्वालिटी की ईमली का मूल्य भी कुछ हद तक बढ़ाया जा सकता है।

आदिवासियों और आदिवासी तेंदूपत्ता संग्राहकों की मांग के आधार पर जो तेंदूपत्ता अभी 4 हजार रु. मानक बोरा की दर से खरीदा जा रहा है, उसकी दर बढ़ाकर 6 हजार रु. प्रति मानक बोरा करने का निर्णय कांग्रेस पार्टी लेने जा रही है। कांग्रेस किसानों के लिए भी कुछ बड़ी घोषणाएं कर चुकी है। सक्ती की चुनावी सभा में मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने किसानों का पूरा कर्जा माफ करने की घोषणा की है। इसके अलावा धान की खरीदी दर व खरीदी सीमा बढ़ाकर 20 क्विंटल प्रति एकड़ करने, बिजली बिल हाफ व माफ करने की घोषणाएं भी कांग्रेस ने की है। 

*बॉक्स*

*दरें बढ़ाने पर भाजपा में मतभेद*

दूसरी ओर सरकार बनाने के लिए लालायित भाजपा के वरिष्ठ नेता एवं संकल्प पत्र समिति उपरोक्त तीनों वस्तुओं के लाभ की दृष्टि से मूल्य इतना ज्यादा बढ़ाने के लिए एकमत नहीं हैं। उनके बीच मतभेद पैदा होते जा रहे हैं। यह भाजपा के लिए बहुत घातक सिद्ध होगा। अब छत्तीसगढ़ के किसान और आदिवासियों को कांग्रेस के घोषणा पत्र एवं भाजपा के संकल्प पत्र का बेसब्री से इंतजार है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

You may have missed