जब बेटी बनी रक्षक: जगदलपुर में आठ बंदूकधारियों से भिड़ी, पिता पर कुल्हाड़ी से हमला: ऐसे बचाई जान

जगदलपुर/ नारायणपुर जिले के झारा गांव में बीती रात एक 17 वर्षीय बेटी अपने पिता को आठ बंदूकधारियों से घिरा देखने के बाद भी हिम्मत नहीं हारी। पिता को कुल्हाड़ी मारने के बाद भी दूसरा वार करने से पहले ही उनके सामने अड़ गई। कुल्हाड़ी को छीनकर फेंकने के साथ ही शोर मचा दिया। जिसके बाद आसपास के लोग घर आ पहुंचे, जहां आठ बंदूकधारी मौके से फरार हो गए। घायल को बेहतर उपचार के लिए मेकाज लाया गया।मामले की जानकारी में बताया गया कि नारायणपुर जिले के झारागांव में बीती रात घर में मौजूद ग्रामीण को अज्ञात बंदूकधारियों के द्वारा हाथ में रखे कुल्हाड़ी से गले पर हमला कर दिया। घटना के तत्काल बाद ग्रामीण की बेटी ने अपने साहस का परिचय देते हुए पिता को बचाते हुए उसे बेहतर उपचार के लिए जिला अस्पताल नारायणपुर ले गई। वहां से ग्रामीण की खराब हालत को देखते हुए उसे मेकाज रेफर किया गया है।मामले की जानकारी देते हुए घायल ग्रामीण सोमधर कोर्राम 50 वर्ष की बेटी सुशीला कोर्राम ने बताया कि शाम को पिता खेत गए हुए थे। उसी समय शाम को मां सुदनी अपने घर के बगल में गई हुई थी, तभी शाम 6 बजे 8 अज्ञात बंदूकधारी आये, आने के बाद पिता के बारे में जानकारी लेने के बाद चले गए।

जैसे ही पिता घर पहुंचे तो बेटी ने इसके बाद  बाजू घर चली गई। रात करीब सात बजे वापस अज्ञात लोग आए और पिता से बात करने के साथ ही हाथ में रखे कुल्हाड़ी से गले में वार कर दिया। इसी दौरान बगल घर गई बेटी भी वापस आ गई और अज्ञात लोगों के हाथ में पकड़े कुल्हाड़ी को छीनकर फेंकते हुए आवाज लगाई। जिसके बाद आसपास के लोग घर पहुंच गए। जहां से उसे जिला अस्पताल नारायणपुर फिर मेकाज लाया गया। जहां उसका उपचार जारी है।

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